देहरादून(आरएनएस)। पुरानी पेंशन बहाली की मांग को लेकर पुरानी पेंशन बहाली राष्ट्रीय आंदोलन उत्तराखंड ने विरोधस्वरूप उपवास किया। वक्ताओं ने कहा कि पुरानी पेंशन हमारा अधिकार है। कहा कि 25 नवंबर को दिल्ली में ऐतिहासिक रैली होगी। शुक्रवार को पुरानी पेंशन बहाली राष्ट्रीय आंदोलन उत्तराखंड के आह्वान पर शिक्षक और कर्मचारी एकता भवन यमुना कलोनी में उपवास पर बैठे। कार्यक्रम का नेतृत्व कर रहे प्रांतीय अध्यक्ष जीतमणि पैन्यूली ने कहा कि जब तक हमारी पेंशन बहाल नहीं होती, तब तक यह संघर्ष पूरे जोश और ताकत के साथ जारी रहेगा। उन्होंने कहा कि आज शिक्षक दिवस है, जो हमें अपने अधिकार और सम्मान की याद दिलाता है। यदि शिक्षक और कर्मचारी मजबूत नहीं होंगे तो राष्ट्र भी मजबूत नहीं हो सकता। सरकार को चाहिए कि जल्द से जल्द पुरानी पेंशन बहाल कर हमें न्याय दे। सरकार की ओर से जो कार्यक्रम एनपीएस और यूपीएस को लेकर चलाया जा रहा है उसका विरोध किया जाएगा। जानकारी दी कि 25 नवंबर को दिल्ली में ऐतिहासिक रैली होगी और 1 अक्टूबर को ट्विटर पर अपना विरोध दर्ज करवाएंगे। आने वाले दिनों में उत्तराखंड के अंदर इस आंदोलन को और मजबूत करने की बात कही। सभा का संचालन कर रहे महामंत्री मुकेश रतूड़ी ने कहा कि शिक्षक समाज का मार्गदर्शक है। उसका भविष्य सुरक्षित किए बिना राष्ट्र सुरक्षित नहीं हो सकता। अनिल सिंह पवार ने कहा कि शिक्षक और कर्मचारियों का सच्चा सम्मान तभी होगा जब उसकी वृद्धावस्था सुरक्षित होगी। उन्होंने कहा कि पुरानी पेंशन बहाली केवल हक नहीं, बल्कि सामाजिक न्याय की पुकार है। इस दौरान प्रांतीय कोषाध्यक्ष शांतनु शर्मा, पार्टी महामंत्री मुकेश रतूड़ी, प्रांतीय संयुक्त मंत्री पुष्कर राज बहुगुणा, प्रांतीय प्रचार मंत्री हर्षवर्धन जमलोकी, जिला अध्यक्ष सुनील गुसाईं, जिला मीडिया प्रभारी चेतन प्रसाद कोठारी, महामंत्री रेशम विभाग अभिषेक चौधरी, प्रांतीय अध्यक्ष सिंचाई विभाग अनिल सिंह पंवार, मंडल अध्यक्ष महासंघ इंजीनियरिंग आशीष यादव, जिला सचिव पूजा श्रेष्ठ, अध्यक्ष उत्तराखंड प्राथमिक शिक्षक संघ प्रमोद रावत, महामंत्री प्राथमिक शिक्षक संघ रविंद्र मोहन पांडे, प्रांतीय अध्यक्ष लक्ष्मी कांत चौहान, अध्यक्ष महिला विंग उर्मिला द्विवेदी, ब्लॉक अध्यक्ष सहसपुर रूचि पैन्यूली आदि मौजूद रहे। अध्यक्ष उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारी कर्मचारी संयुक्त परिषद संतन रावत, समीक्षा अधिकारी राजेन्द्र रतूड़ी, सुनील गौड़, ओमप्रकाश भट्ट, रजनीश अग्रवाल, विजय सिंह, रवि कुमार, चन्द्र भूषण, अजय कुमार पाल, प्रेम मोहन, उत्सव सेमवाल, विनोद त्रिपाठी, संजय वर्मा, नरेंद्र चंद्र, दीपक डोभाल, जितेन्द्र सिंह रावत, शिव कुमार यादव, कन्हैयालाल, हरीश कुमार, सुधीर कुमार, राजेश कुमार, सुभाष चंद्र, अमित सिंह, बलीराम, योगेंद्र सिंह, अमित रावत, महेंद्र सिंह, दिव्या श्रेष्ठ, सुजाता पाल, लक्ष्मी गुसाईं, दीपा सिंह, नरेंद्र चंद, चंदन बिष्ट, जगजीवन चौहान, चंद्र मोहन डोभाल, पुष्पेंद्र पंवार, नागेंद्र मथुरा, राजीव नयन पांडे, गोदावरी रावत, उत्सव सेमवाल समेत विभिन्न विभागों के कर्मचारी, शिक्षक मौजूद रहे।
पुरानी पेंशन बहाली के लिए उपवास पर बैठे शिक्षक और कर्मचारी
