रुद्रप्रयाग(आरएनएस)। प्रधानाचार्य सीधी भर्ती के विरोध में 2 सितंबर को एससी एसटी शिक्षक एसोसिएशन काला फीता बांधकर विरोध प्रदर्शन करेंगे। एसोसिएशन ने कहा कि यदि शीघ्र कोई कार्रवाई नहीं होती है, तो उन्हें उग्र आंदोलन के लिए मजबूर होना पड़ेगा। एससी एसटी शिक्षक एसोसिएशन प्रदेश उपाध्यक्ष विजय वैरवाण ने बताया कि प्रधानाचार्य सीधी भर्ती को लेकर 1 सितंबर को एसोसिएशन की गूगल मीट का आयोजन किया। बैठक में प्रधानाचार्य सीधी भर्ती को शिक्षकों के हितों को लेकर 2 सितंबर से विद्यालय स्तर पर काला फीता बांधकर विरोध करने का निर्णय लिया गया। 2022 में प्रधानाचार्य भर्ती नियमावली बनाए जाने से लेकर लगातार इसका विरोध करता आ रहा है। इस संबंध में संघ गत 24 जून को देहरादून में प्रदेश के मुख्यमंत्री से भी वार्ता कर चुका है। प्रधानाचार्य पदों के लिए 50 वर्ष से कम आयु के प्रवक्ता और प्रधानाध्यापकों से आवेदन मांगे हैं, लेकिन प्रदेश में 50 वर्ष से कम आयु का कोई भी प्रधानाध्यापक नहीं है। एक साथ 692 प्रधानाचार्य के पदों को भरने से आगामी 15-20 सालों तक शिक्षकों के लिए पदोन्नति के अवसर बंद हो जाएंगे। सीधी भर्ती का विज्ञापन में प्रधानाचार्य के कुल 1384 पदों के आधार मानते हुए इसके 50 फ़ीसदी पदों के आधार पर 692 पदों पर सीधी भर्ती की जा रही है। जबकि विभागीय स्तर पर 559 विद्यालयों को क्लस्टर स्कूल बनाए जाने का प्रस्ताव रखा गया है। जिसमें 633 इंटर कॉलेजों का विलय किया जाना है। इतने बड़े स्तर पर इंटर कॉलेज का विलय किए जाने से 633 प्रधानाचार्य के पद भी समाप्त हो जाएंगे। इस भर्ती को किसी भी सूरत में न्यायोचित नहीं कहीं कहा जा सकता है। इसलिए शिक्षक एसोसिएशन ने प्रधानाचार्य सीधी भर्ती के विरोध में 2 सितंबर से काला फीता बांधकर विरोध प्रदर्शन करने का निर्णय लिया है।
एससी-एसटी शिक्षक एसोसिएशन काला फीता बांधकर करेगा विरोध
